जगदलपुर। कुणाल सिंह ठाकुर। विश्व के मानचित्र में छाया देश का मिनी नियाग्रा कहे जाने वाला चित्रकोट वाटरफॉल ज़िम्मेदारो की लापरवाही के चलते गायब होने की स्थिति में आ गया है.और इस खूबसूरत जलप्रपात गर्मी के शुरुआत में ही सुखने की कगार पर पहुंच गया है.

दुकानदारों की बिक्री भी बंद :
छतीसगढ़ और बस्तर का पर्यटन स्थल चित्रकोट बिना पर्यटकों के वीरान हो गया है. हर मौसम में सुन्दर नजारा दिखने वाला जलप्रपात की धारा ग़ायब होती जा रही हैं. और अब इसे देखने दूर दराज से आने वाले पर्यटक भी मायूस होकर वापस जा रहे हैं. तो वंही पर्यटकों से गुलजार रहने वाला चित्रकोट जलप्रपात के पास व्यापार करने वाले दुकानदार भी खासे परेशान हैं.

पानी छोड़ने की गुजार लगा रहें व्यापारी :
पर्यटकों के नही आने से उनकी बिक्री भी बंद हो गई हैं और वे दूकान बंद कर प्रशासन से पानी छोड़ने की गुजार लगा रहें हैं. वहीं चित्रकोट जलप्रपात की ऐसी स्थिति कभी देखी नही गई और आगे गर्मी और बढ़ने वाली है. ऐसे में जलप्रपात पुरी तरह से सुख ना जाए, ऐसे भी कयास उठा रहा है. बता दे कि इंद्रावती नदी का पानी ही चित्रकोट में पहुंच कर सुन्दर जलप्रपात बनाता है.

क्षेत्र में बनाये गए एनीकट भी सुख गया :
और इसे देखने विश्व भर से पर्यटक छत्तीसगढ़ बस्तर पहुंचते हैं. लेकिन बस्तर की प्राण दायिनी और जीवन दायनी नदी इन दिनों खतरे में है, और उडीसा सरकार ने उसे रोक रखा है. क्षेत्र में बनाये गए एनीकट भी सुख गया है. जिसके चलते ही चित्रकोट जलप्रपात पुरी तरह से प्रभावित हो गई हैं.

By Kunaal Singh Thakur

KUNAL SINGH THAKUR HEAD (प्रधान संपादक)

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