रायपुर। द मीडिया पॉइंट। राजधानी स्थित एम्स अस्पताल से एक गंभीर मामला सामने आया है। कोल्ड ड्रिंक में शराब मिलाकर महिला सहकर्मी से दुष्कर्म करने का मामला सामने आया है। पीड़िता की शिकायत पर अधीक्षण अभियंता राजेश सिंह के खिलाफ अपराध दर्ज कर कबीरनगर थाने की पुलिस जांच में जुट गई है। फिलहाल आरोपी पुलिस की पकड़ से दूर है। पीड़िता ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है कि जून-2022 में राजेश सिंह अपने साथ कबीरनगर थाना इलाके में अपने घर लेकर गया था। आरोपी ने कोल्ड ड्रिंक में शराब मिलाकर पिला दी, जिससे वह बेसुध हो गई। इसके बाद आरोपी ने दुष्कर्म किया। घटना के दूसरे दिन आरोपी राजेश ने अपनी गलती मानकर माफी मांगी तो उसने शिकायत नहीं की। कुछ दिन बाद आरोपी फिर से गलत नजरों से देखना शुरू कर दिया, जिसके बाद उसने एम्स के आंतरिक शिकायत समिति से शिकायत की। इधर, एम्स प्रबंधन का कहना है कि पीड़िता की शिकायत पर मामले की जांच की गई। दुष्कर्म के मामले की जांच के लिए पुलिस को पूरे घटना की जानकारी दी गई है। महिला के मानसिक उत्पीड़न की जांच समिति कर रही है।

पीड़िता शादीशुदा है। उसका एक बेटा भी है। पति के साथ तालाक की बात चल रही है, जिसकी जानकारी आरोपी राजेश को थी। पीड़िता ने पुलिस को बताया कि इससे पहले एक फेयरवेल पार्टी में भी आरोपी ने कोल्ड ड्रिंक में शराब मिलाकर पिलाई थी, लेकिन उस दौरान वह होश में थी। आरोपी ने गलत हरकत करने की कोशिश की थी लेकिन विरोध करने के बाद माफी मांगने लगा था। जून 2022 में घटना के बाद आरोपी वाट्सएप पर अश्लील मैसेज और वीडियो भेजता था। दिसंबर 2022 में एम्स प्रबंधन को ईमेल के माध्यम से शिकायत की थी।

शिव शर्मा, जनसंपर्क अधिकारी, एम्स ने बताया कि एम्स में ऐसे मामलों की जांच के लिए आंतरिक शिकायत समिति गठित है। पीड़िता की शिकायत पर जांच के बाद दुष्कर्म मामले की जांच के लिए पुलिस को सूचित किया गया है। मानसिक उत्पीड़न की जांच समिति कर रही है। उल्लेखनीय है कि इसके पहले भी एम्स के डाक्टरों पर भी गंभीर आरोप लग चुका है। सन 2021 में भी एम्स दिल्ली के मेडिसीन विभाग में कार्यरत सीनियर रेजिडेंस डाक्टर पर बलात्कार का आरोप लग चुका है, उस वारदात में भी इसी तरह कोल्डड्रिंक में नशीला पदार्थ मिलाकर दुष्कर्म के वारदात को अंजाम दिया गया था, साथ ही वहीँ के पीजी स्टूडेंट पर भी एक छात्रा से दुष्कर्म का आरोप लग चुका है, जिसकी शिकायत केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय को भी की गई थी।

By Kunaal Singh Thakur

KUNAL SINGH THAKUR HEAD (प्रधान संपादक)

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