नई दिल्ली/रायपुर। कुणाल सिंह ठाकुर। समय बदलने के साथ-साथ अब लोगों की सोच में भी काफी बदलाव देखने को मिल रहा है। इस बात का बेहतरीन उदाहरण जापान है। जी हां, बिल्कुल आपने ठीक पढ़ा। जापान में इन दिनों को शादियों का ट्रेंड बदलने लगा है। जापान में अब वीकेंड मैरिज का चलन चल पड़ा है। हैरान कर देने वाली बात ये है कि जापान में लोग शादी के बाद भी अपने घरों में ही रहते हैं। सिर्फ यही नहीं, लोग एक शहर में होने के बाद भी साथ नहीं रहते हैं।

क्या है Weekend Marriage?
दरअसल, वीकेंड या सेपरेशन मैरिज का मतलब है कि शादीशुदा होने के बाद सिंगल रहने की फीलिंग। लोगों का मानना है कि इससे भावनात्मक लगाव तो बना ही रहता है लेकिन साथ ही आपको एक ऐसा साथी मिल जाता है, जिसपर आंख मूंदकर भरोसा कर सकते हैं। वीकेंड मैरिज को लेकर एक पुरुष का कहना है कि वह अपनी पत्नी से हफ्ते में 2 या 3 बार ही मिलता है। इससे उन्हें आजादी का अहसास होता है।

सिंगल वाली फीलिंग लेते हैं लोग :
हालांकि, यहां के लोग बेशक शादी के बाद एक-दूसरे से अलग रहते हैं। लेकिन वे एक-दूसरे की भावनाओं का सम्मान करते हैं। एक-दूसरे की भावनाओं का सम्मान करने के साथ-साथ भविष्य की योजनाएं बनाते हैं। इसके अलावा, लोग फाइनेंशियल प्लानिंग भी एक साथ करते हैं। एक महिला का कहना है कि वह अपने पति से बेहद प्यार करती हैं लेकिन उन दोनों की लाइफस्टाइल बेहद अलग-अलग है। वह सुबह 4 बजे उठती है और उसका पति सुबह 8 बजे तक सोता है। हम दोनों अपनी आजादी से समझौता किए बिना सुकून से रहते हैं।

लेकिन अलग रहने के हैं नुकसान :
हालांकि, अलग रहने के कुछ नुकसान भी हैं। इस महिला का कहना है कि मुझे अपने बच्चे की परवरिश में पति की मदद नहीं मिल पाती है। इसके साथ ही मुझे घर का सारा काम अकेले की करना पड़ता है। वीकेंड मैरिज में आर्थिक तौर महिला और पुरुष दोनों का मजबूत रहाना बेहद जरूरी है। वीकेंड मैरिज पर कुछ लोगों का अलग तर्क है। उनका कहना है कि शादी के बाद भी अगर कपड़े धोने से लेकर खाना बनाने तक सब काम खुद ही करना पड़े तो शादी का क्या फायदा।

By Kunaal Singh Thakur

KUNAL SINGH THAKUR HEAD (प्रधान संपादक)

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